बुधवार, 16 सितंबर 2015

ख़ुशी

ख़ुशी 
जिसको 
जब भी 
जैसे भी मिली है 
बड़ी जल्दी में ही रहती है 
देख कर 
दो पल 
जी भर कर बात भी नहीं कर पाते है 
और 
आगे निकल जाती है
रह जाती है 
सिर्फ ख़ुशी की यादें 
और 
फिर अगली बार मिलने 
का 
इंतज़ार  

रविवार, 14 जून 2015

मौन

मौन
एक भाषा है
कभी बोलकर तो देखिये
दिल में जो बात आ रही है
कभी
दिल में ही तोलकर तो देखिये
कभी कहीं कड़वाहट लगे
उसमे
मिठास घोलकर तो देखिये
अपना तो अपना है
पराया भी अपना हो जायेगा

मंगलवार, 14 अप्रैल 2015

दो मीठे बोल

बेचारा दिल
क्या चाहे ,
बस सुनना  चाहे
दो मीठे बोल
तोल  तोल  कर  बोल
बस
दो मीठे बोल

बेचारा दिल
जब जब सुने
किसी के भी
दो मीठे बोल
खुश होकर
बस डोल  डोल

वाह रे वाह
दो मीठे बोल 

रविवार, 12 अप्रैल 2015

दर्द

दर्द जहाँ  होता है
वहीँ तो दिल होता है
वर्ना
जहाँ दिल ही नहीं हो
उन्हें
क्या पता
कि
दर्द  क्या होता है

कहा ज़रूर किसी ने
कि
मर्द को दर्द नहीं होता
लेकिन
किसी कर दर्द देख
जिसे दर्द होता है
वही तो
सच्चा  मर्द होता है
एक बार फिर कहूँ
दर्द जहाँ  होता है
वहीँ तो दिल होता है 

मंगलवार, 24 मार्च 2015

बेचारा दिल

बेचारा दिल 
किससे  शिकवा करे 
कब और कैसे शिकवा करे 

दिल का दिल जो चाहे 
वो हमेशा होता नहीं 
और 
जो हमेशा होता रहता है 
वो 
दिल का दिल चाहता नहीं 

गुरुवार, 15 जनवरी 2015

?




प्रश्न पूछिये
अपने  आप से
सिर्फ
एक बार
प्रश्न पूछिये
ज़िन्दगी
अब नहीं
तो

कब जीयेंगे